कहते हैं भारत में टैलेंट की कमी नहीं हैं. एक तरह से देखा जाए तो यह बात बिलकुल सच हैं. बात अगर सिर्फ खेल के दुनिया से सबसे चर्चित और सुप्रसिद्ध खेल क्रिकेट की, कि जाए तो यहाँ भी यह बात सच साबित होती हैं. हर राज्य में क्रिकेट को काफी गंभीरता से लिया जाता हैं और गली, मौहले में क्रिकेट के प्रति खिलाड़ियों के जुनून और प्यार को बखूबी देखने को मिलता हैं.
भारत वर्ष में जो हुनर खिलाड़ियों को देखने को म्किलता हैं, वो हुनर शायद ही कहीं और देखने को मिलता हो. ऐसे कई सारे खिलाड़ी हैं, जो ना जाने कब से घरेलू क्रिकेट में लगातार अच्छा प्रदर्शन कर देश के लिए खेलने को बेताब हैं, लेकिन उनके टैलेंट और काबिलियत की पहचान हमारे चयनकर्ताओं द्वारा बिलकुल भी नहीं की जाती. चेतेश्वर पुजारा ने पंकज सिंह के अंतर्राष्ट्रीय करियर पर दिया बड़ा बयान
इन खिलाड़ियों में एक ऐसा भी नाम आता हैं, जो पिछले काफी लम्बे सालों से घरेलू स्तर पर विकटों का अम्बार लगा रहा हैं, लेकिन राष्ट्रीय चयनकर्ता लगातार उनकी असली पहचान करने में नाकाम साबित हो रहे हैं. हम बात कर रहे हैं, राजस्थान की टीम के कप्तान और ऊँची कद काटी के तेज गेंदबाज़ पंकज सिंह.
पंकज सिंह भारत के लिए 2014 के इंग्लैंड दौरे पर दो टेस्ट मैच खेल चुके हैं और उनके नाम 2 विकेट भी दर्ज हैं. बात अगर घरेलू क्रिकेट में उनके प्रदर्शन की करे, तो घरेलू क्रिकेट में पंकज सिंह की तूती बोलती हैं. घरेलू क्रिकेट के 102 मैचों में पंकज के नाम 412 विकेट दर्ज हैं. क्रिकेट प्रशासकों की नियुक्ति में देरी चिंता की बात : गावस्कर
इतने शानदार खेल के बाद भी पंकज सिंह आज तक देश के लिए मात्र दो टेस्ट मैच खेलना का ही अवसर मिला हैं. अभी कुछ ही समय पहले एक रणजी मुकाबलें में घरेलू क्रिकेट में अपने 400 विकेट पूरे किये. हाल ही दिए अपने एक इंटरव्यू में पंकज सिंह ने अपने लाजवाब क्रिकेट सफ़र और अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट में ना मिले मौके के बारे में काफी कुछ बातें कहीं.
पंकज सिंह के अनुसार-
”घरेलू क्रिकेट में 400 विकेट लेना वाकई में बहुत बड़ी उपलब्धी हैं. मैं बहुत खुश हूँ. जब मैंने अपने करियर की शुरुआत की तब मुझे बिलकुल भी यकीन नहीं था, कि मैं कभी 400 विकेट ले पाऊंगा या इतना लम्बा खेल पाउँगा. शुरू से ही मेरा सपना देश के लिया क्रिकेट खेलने का था, जो 2014 ने पूरा भी हुआ.”
आपकों बता दे, कि पंकज सिंह को सबसे पहले साल 2007 के ऑस्ट्रेलियाई दौरे पर टीम में शामिल किया गया था. उसके बारे में बात करते हुए पंकज सिंह ने कहा, कि
”वह एक लाजवाब पल था. नेट्स पर मैं राहुल द्रविड़, इरफ़ान पठान और वसीम जाफर को गेंदबाज़ी किया करता था. ऑस्ट्रेलियाई दौरे पर टीम के सभी सीनियर खिलाड़ी से मुझे बहुत कुछ सीखने को मिला. सभी खिलाड़ी मुझे बहुत प्रोत्साहित करते थे. मुझे दौरे पर एक भी मैच खेलने को नहीं मिला. मगर सच कहूँ, तो देश के लिये ऑस्ट्रेलिया के दौरे पर जाना और सचिन, गांगुली, कुंबले जैसे दिग्गजों के साथ वक़्त बिताने बहुत बड़ी बात रही.” विडियो : आज ही के दिन 11 साल पहले इरफ़ान पठान ने रचा था इतिहास
पंकज सिंह ने आगे कहा, कि
”इंग्लैंड दौरे पर डेब्यू करना बड़ी बात रही. मैं लगातार घरेलू क्रिकेट में अच्छा प्रदर्शन कर रहा हूँ और उम्मीद करता हूँ, कि राष्ट्रीय चयनकर्ता बहुत जल्द मुझे वापस देश के लिया खेलने का एक मौका देंगे.”