क्रिकेट के दुनिया में एक से बढ़कर एक क्रिकेटर आए, जिन्होंने 22 गज की क्रिकेट की जमीन पर खुद धमाल मचाया, उन्होंने कई बड़े रिकार्ड तोड़े और बनाए। लेकिन कुछ क्रिकेटर ऐसे भी हैं जो क्रिकेट के अलावा और भी क्षेत्रों में अपना परचम लहराए। इसी क्रम में एक ऐसा क्रिकेटर ऐसा भी है जिसने माउंट एवरेस्ट की फतह किया। माउंट एवरेस्ट के फतह के सफर में क्रिकेटर की जान पर खतरा आ गया था।
माउंट एवरेस्ट पर चढ़ चुका है क्रिकेटर
क्रिकेट के इतिहास में सिर्फ एक ही ऐसा क्रिकेटर है, जिनसे माउंट एवरेस्ट पर परचम लहाराया। न्यूजीलैंड के पूर्व स्टार विकेटकीपर एडम परोरे का आज 50वां जन्मदिन है। न्यूजीलैंड के ऑकलैंड शहर में जन्में एडम परोरे साल 2011 में दुनिया की सबसे ऊंची चोटी माउंट एवरेस्ट फतह की थी।
एडम परोरे ने 1990 से 2002 तक न्यूजीलैंड के लिए 78 टेस्ट, 179 वनडे मैच खेले। फिर 2002 में उन्होंने इंटरनेशनल क्रिकेट को अलविदा कह दिया था और इसके 9 साल बाद ही उन्होंने माउंट एवरेस्ट की चढ़ाई करके इतिहास रच दिया।
मुश्किल से किया माउंट एवरेस्ट
न्यूजीलैंड के पूर्व विकेटकीपर एडम परोरे ने साल 2011 के दुरान दुनिया की सबसे ऊंची चोटी माउंट एवरेस्ट फतह करने का प्लान बनाया। फतह के बाद जब वह वापस लौटे तो उन्होंने एक इंटरव्यू में परोरे ने बताया था कि मई में एवरेस्ट फतह की, मगर वह मार्च 2011 को ही नेपाल पहुंच गए थे, ताकि वहां के मौसम में खुद को ढ़ाल सके।
दुनिया की सबसे ऊंची चोटी पर पहुंचने के अपने सफर के बारे में परोरे ने एक इंटरव्यू में बताया। जिसमें उन्होंने अपने इस सफर में आई मुश्किलों का जिक्र किया। उन्होंने बताया था की इस सफर के दौरान उनकी आवाज तक बंद हो गई थी।
परोरे की आवाज हो गई थी बंद
माउंट एवरेस्ट की चोटी पर पहुचकर जब वह नीचे आए तो उंसके कुछ दिन के बाद उन्होंने एक इंटरव्यू में अपने सफर में आई मुश्किलों का खुलासा किया। परोरे ने बताया-
“जह मैं चढ़ाई कर रहा था तो मेरा ऑक्सीजन खत्म हो गया था, ऐसे में साथ चल रहे शेरपा की वजह से वह जिंदा बच पाए पाए। मैंने चोटी पर करीब 20 मिनट का समय बिताया, वहां पर तस्वीरें खींची और नीचे उतरने लग गया”।
“नीचे उतरने के बाद मेरी तबीयत काफी खराब हो गई थी, मेरी आवाज तक बंद हो गई थी। हालांकि उपचार के कुछ देर बाद राहत मिली”।