लॉर्ड्स के ऐतिहासिक मैदान पर खेला गया वर्ल्ड कप फाइनल का मुकाबला विवादों से घिरा रहा। हालांकि आईसीसी अंपायर के 6 रन देने वाले फैसले का बचाव कप चुकी है।
साथ ही अनिल कुंबले की अध्यक्षता वाली आईसीसी ने घोषणा की है कि वह अक्टूबर में मीटिंग कर फाइनल मुकाबले से जुड़े सभी विवादित मुद्दों पर बातचीत करेगी। इसमें अधिक बाउंड्री के तहत विजेता घोषित करने वाला फैसला भी शामिल होगा
विश्व कप के फाइनल मुकाबले में हुए मुद्दों पर आईसीसी करेगी मीटिंग
विश्व कप के फाइनल मुकाबले में सुपर ओवर के टाई होने के बाद अधिक बाउंड्री के आधार पर इंग्लैंड को विजेता घोषित करने के नियम को लेकर काफी विवाद हुए थे। हालांकि सभी ने न्यूजीलैंड की टीम के साथ सहानुभूति जताई थी। ‘ईएसपीएनक्रिकइंफो’ ने एलार्डिस के हवाले से कहा,
‘आईसीसी प्रतियोगिताओं में 2009 से मैच टाई होने की स्थिति में विजेता का फैसला करने के लिए सुपर ओवर का इस्तेमाल किया जा रहा है। सुपर ओवर भी टाई होने के बाद मैच का नतीजा उसी मैच में हुई किसी चीज के आधार पर निकालना था। इसलिए यह हमेशा उस मैच में लगी बाउंड्री की संख्या से जुड़ा था।’
आईसीसी अधिकारी ने कहा कि बाउंड्री गिनने के नियम का इस्तेमाल किया गया क्योंकि यह दुनिया भर की टी20 लीग में इस्तेमाल किया जाता है। एलार्डिस ने कहा,
‘दुनिया भर की लगभग सभी टी20 लीग में सुपर ओवर टाई होने पर बाउंड्री के नियम का इस्तेमाल होता है। हम भी उसी सुपर ओवर नियमों का इस्तेमाल करना चाहते थे जो सभी पेशेवर क्रिकेट में इस्तेमाल किया जाता है और यही कारण है कि इसे इस तरह लागू किया गया था। यदि इससे इतर कुछ हो सकता था इस पर हमारी क्रिकेट समिति विचार करेगी।’
विश्व कप फाइनल में नहीं की जा सकती ट्रॉफी साझा
आईसीसी के मुख्य कार्यकारियों की समिति की वार्षिक बैठक में इस पर चर्चा नहीं हुई कि क्या भविष्य में विश्व कप शेयर करना विकल्प हो सकता है। असल में विश्व कप 2019 में जब सुपर ओवर के बाद भी मुकाबला टाई रहा तो कई लोगों का मानना था।
ऐसे में आईसीसी को दोनों ही टीमों को विजेता घोषित करना चाहिए था। लेकिन ऐसा नहीं हुआ और मेजबान टीम को अधिक बाउंड्री लगाने के आधार पर विजेता घोषित कर दिया गया।
उन्होंने कहा,
‘नहीं, इस पर चर्चा नहीं हुई। सभी का यह नजरिया था कि विश्व कप फाइनल में एक विजेता होना चाहिए और पिछले तीन विश्व कप में सुपर ओवर फाइनल के टाई होने की स्थिति में नियमों में शामिल था।’