भारत और इंग्लैंड के बीच खेली गई पांच टेस्ट मैचों की सीरीज भारतीय टीम ने विराट कोहली की लाजवाब कप्तानी में 4-0 से जीत ली हैं.
भारतीय टीम ने चेन्नई टेस्ट के आखिरी दिन लाजवाब और शानदार खेल का प्रदर्शन करते हुए मेहमान टीम इंग्लैंड के पसीने छुड़ा दिए. टीम इंडिया की इस ऐतिहासिक जीत में सभी के सभी खिलाड़ियों ने शानदार प्रदर्शन करते हुए देश का मान बढ़ाया.
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लेकिन भारतीय टीम की जीत में एक खिलाड़ी ऐसा भी था, जिसने कल कुछ ऐसा कर दिखाया जिसकी किसी को कामना भी नहीं थी. टीम इंडिया के ऑल राउंडर रविन्द्र जडेजा ने चेन्नई टेस्ट के आखिरी दिन अपनी करिश्माई गेंदबाज़ी के दम पर इंग्लैंड की टीम के बल्लेबाजों की नाक में दम कर के रख दिया.
भारतीय टीम में सर रविन्द्र जडेजा के नाम से मशहूर रविन्द्र जडेजा ने चेन्नई टेस्ट के अंतिम दिन सात विकेट लेकर इतिहास रच डाला.
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रविन्द्र जडेजा ने इंग्लैंड के विरुद्ध एक ऐसा ऐतिहासिक रिकॉर्ड बना डाला. जिसे टेस्ट क्रिकेट के अब तक के इतिहास में कोई भी खिलाड़ी नहीं बना पाया था.
रविन्द्र जडेजा विश्व क्रिकेट के ऐसा पहले खिलाड़ी बने, जिन्होंने एक टेस्ट में अर्द्धशतक, एक टेस्ट मैच में दस विकेट और चार कैच पकड़े हो.
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रविन्द्र जडेजा ने चेन्नई टेस्ट में भारत की ओर से बल्लेबाज़ी करते हुए लाजवाब 51 रनों की पारी खेली और पहली पारी में 3/106 और दूसरी पारी में 7/48 विकेट लेने के साथ मैच में कुल चार शानदार कैच भी पकड़े.
इससे पहले ऑस्ट्रेलिया के जॉर्ज गिफ्फिन ने साल 1892 में इंग्लैंड जे विरुद्ध एक मैच में दस विकेट, चार कैच पकड़े थे. मगर गिफ्फिन अर्धशतक नहीं बना सकें थे और 49 के स्कोर पर आउट हो गये थे.
इस लिहाज से यह बड़ा रिकॉर्ड बनाने वाले रविन्द्र जडेजा दुनिया के पहले खिलाड़ी बने.