भारतीय टीम में काफी खिलाडी शरारती थे और है, युवराज सिंह और हरभजन सिंह ने एक बार ऐसी ही शरारत सौरव गांगुली के साथ भी की थी.युवराज ने जब दादा ड्रेसिंग रुम में मिटिंग के लिए आए तब कहा की न्यूज में खबर आयी है की सभी खिलाडियों ने आपके खिलाफ भला बुरा कहा है, तब दादा डर गये और उनका चेहरा एकदम शांत हो गया लेकिन द्रविड से रहा नहीं गया और उन्होंने कह दिया की ये अप्रैल फुल है और सब जोर जोर से हसने लगे.
ऐसा ही वाकया 1982 के इंग्लैंड दौरे पर संदिप पाटिल ने सुनिल गावस्कर के साथ किया था.पाटिल जब मैदान में अभ्यास करने के लिए आए तब उनके पिछे गावस्कर थे तब पाटिल ने सिक्योरिटी गार्ड से कहा कि जो मेरे पिछे है, वे अपने आप को भारतीय क्रिकेट टीम का कप्तान समझता है और उनकी बात मत सुनना.
सेक्युरिटी गार्ड ने गावस्कर को रोका और मैदान में जाने ही नहीं दिया गावस्कर को थोडी देर बाहर ही बैठना पडा.लेकिन बाद में पाटिल आये और उन्होंने सब सच बताया.