हाल के दिनों में मुरली विजय और करुण नायर ने भारतीय टीम के चयनकर्ताओं के चयन पर सवाल उठाये थे. मुरली विजय ने कहा था, कि चयनकर्ताओं पर संवाद की कमी हैं. वह खिलाड़ी को टीम से बाहर करने में किसी भी खिलाड़ी को उसकी कमी नहीं बताते हैं. इससे हमें भी पता नहीं चल पाता हैं, कि चयन का क्या मापदंड हैं.
वहीं करुण नायर ने चयनकर्ताओं की आलोचना करते हुए कहा, मैं इंग्लैंड में पांच टेस्ट मैचों से टीम से बाहर था, लेकिन इस दौरान ना तो मुझे कोच ना कप्तान और ना ही चयनकर्ताओं ने बताया, कि मैं टीम से क्यों बाहर हूं. मुझसे किसी ने भी कोई बात नहीं की.
यह खिलाड़ी भी उठा चुके हैं चयनकर्ताओं पर अंगुली:
मोहिन्दर अमरनाथ
बता दें, कि भारतीय टीम के पूर्व क्रिकेटर मोहिन्दर अमरनाथ ने, तो चयनकर्ताओं को ‘जोकरों का समूह’ तक कह दिया था. दरअसल, मोहिन्दर अमरनाथ को 1988 में भारतीय टीम से बाहर कर दिया था, जिसके बाद उन्होंने चयनकर्ताओं पर अपनी नाराजगी जताते हुए चयनकर्ताओं को ‘जोकरों का समूह’ कहकर संबोधित किया था.
सुरेश रैना
जब 2017 में सुरेश रैना को भारतीय वनडे टीम में नहीं चुना जा रहा था और चयनकर्ता अपनी सफाई में कह रहे थे, कि सुरेश रैना को यो-यो टेस्ट की वजह से टीम में शामिल नहीं किया जा रहा हैं.
ऐसे में मुंबई में हुए एक प्रमोशनल इवेंट में सुरेश रैना ने अपने चयन को लेकर कहा था, “मैं भारतीय टीम में वापसी को लेकर कड़ी मेहनत कर रहा हूं, मैंने हमेशा ही टीम में आने के लिए कड़ी मेहनत की है और इस बार भी टीम में आने के लिए कड़ी मेहनत कर रहा हूं और जहां तक यो-यो टेस्ट की बात है, तो आप इसके बारे में चयनकर्ताओं से पूछें, बस मैं यह जनता हूं, कि मैं पूरी तरीके से फिट हूं. मुझे नहीं पता, कि चयनकर्ता मुझे क्यों नहीं टीम में चुन रहे हैं.”
हरभजन सिंह
हरभजन सिंह एक ऐसे क्रिकेटर रहे हैं. जिन्होंने समय-समय पर चयनकर्ताओं पर सवाल उठाये हैं. उन्होंने हाल में ही वेस्टइंडीज के खिलाफ चुनी गई टीम को देखते हुए पीटीआई को दिए गये अपने एक बयान में कहा था, कि “यकीन मानिये, राष्ट्रिय टीम के चयन के लिए यह चयन समिति जिस तरह का मापदंड कर रही हैं, उससे मुझे उनकी सोच पर तरस आता हैं.”
जब मयंक अग्रवाल को एशिया कप टीम में नहीं चुना गया था. तब भी हरभजन सिंह ने चयनकर्ताओं की आलोचना की थी.
Where is Mayank Agarwal ??? After scoring so many runs I don’t see him in the squad … different rules for different people I guess.. pic.twitter.com/BKVnY6Sr4w
— Harbhajan Turbanator (@harbhajan_singh) September 5, 2018
गौतम गंभीर
गौतम गंभीर ने भी साल 2017 विजय हजारे टूर्नामेंट के दौरान दिल्ली के चयनकर्ता केपी भास्कर की मीडिया में आलोचना की थी. गंभीर ने उन्हें लेकर अपने एक बयान में कहा था, कि “केपी भास्कर ने युवा प्रतिभाशाली खिलाड़ियों पर असुरक्षा की भावना इतनी अधिक भर दी है, कि उनके पास उनसे सवाल पूछने के अलावा और कोई विकल्प नहीं बचा हैं.”