भारतीय टीम दूसरी बार विश्वकप चैंपियन महेंद्र सिंह धोनी की कप्तानी में 2011 में बनी थी. वहीं 2015 में भारतीय टीम ख़िताब बचाने में सफल नहीं हो पायी थी. इस दौरान धोनी की कप्तानी में कुछ खिलाड़ी विश्वकप में चयन को लेकर काफी भाग्यशाली रहे. चलिए जानते हैं ऐसे ही पांच खिलाड़ियों के बारे में.
5. पियूष चावला
पीयूस चावला 2011 विश्वकप विजेता टीम का हिस्सा था. बाँए हाथ के लेग ब्रेक गेंदबाज चावला ने 2007 में वनडे टीम इंडिया में डेब्यू किया था. मगर वह अधिक प्रभावी नही रहे थे. ऐसे में विश्वकप में चयन को लेकर वह काफी भाग्यशाली रहे. चावला ने 25 वनडे मैच भारतीय टीम के लिए खेले हैं. जिसमें 32 विकेट लिए.
4. युसूफ पठान
2011 विश्वकप में युसूफ पठान एक ऑल राउंडर के तौर पर टीम में शामिल किए गए थे. युसूफ एक धमाकेदार ऑल राउंडर हैं. मगर वह निरंतर अच्छा प्रदर्शन करने में सफल नही रहे. पठान ने 2008 में वनडे टीम में डेब्यू किया था. वह 2011 विश्वकप में चयन को लेकर किस्मतवाले रहे.
3. एस श्रीसंत
फिक्सिंग के आरोप के चलते बीसीसीआई द्वारा बैन कर दिए गए एस श्रीसंत 2011 विश्वविजेता टीम का हिस्सा था. विश्वकप खेलने के मामले में श्रीसंत काफी लकी रहे थे. उन्हें प्रवीण कुमार के चोटिल होने के बाद टीम में शामिल किया गया था.
2. अक्षर पटेल
आईपीएल में शानदार प्रदर्शन के दमपर टीम इंडिया में जगह बनाने वाले अक्षर पटेल 2015 वर्ल्डकप टीम के हिस्सा रहे. ऑल राउंडर के तौर पर टीम में शामिल किए गए अक्षर का प्रदर्शन इससे पहले कुछ खास नही रहा था. इसके बाद भी उन्हें टीम का हिस्सा बनाया गया था.
1. स्टुअर्ट बिन्नी
2015 विश्वकप के लिए बिन्नी का जब भारतीय टीम में चयन हुआ तो काफी हंगामा हुआ था. इसके बाद खुद धोनी को इसको लेकर सफाई देनी पड़ी थी . बिन्नी का वनडे क्रिकेट में प्रदर्शन कुछ खास नहीं है. उन्होंने 14 वनडे मैच खेले हैं. जिसमें 230 रन और 20 विकेट लिए हैं. 20 विकेट में उनका सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन एक ही मैच में चार रन देकर 6 विकेट शामिल हैं.