भारतीय क्रिकेट टीम को ऑस्ट्रेलियाई दौरे पर बुरी तरह से हार का सामना करना पड़ा है और अब भारतीय टीम ‘WTC फाइनल 2025’ की रेस से बाहर हो गई है। भारतीय टीम को जैसे ही इस दौरे पर हार मिली वैसे ही सोशल मीडिया पर कई खिलाड़ियों के संन्यास की मांग भी तेजी के साथ उठने लगी है।
भारतीय टीम के खिलाड़ियों के बारे में यह कहा जा रहा है कि, ये खिलाड़ी 40 की उम्र से पहले संन्यास का ऐलान नहीं करते हैं और इसी वजह से युवा खिलाड़ियों को भारतीय टीम में मौके भी नहीं मिल पाते हैं। भारतीय टीम के कई दिग्गज खिलाड़ी पिछले कुछ समय से लगातार फ्लॉप हो रहे हैं और इसके बावजूद ये संन्यास का ऐलान नहीं कर रहे हैं।
इन कारणों से संन्यास का ऐलान नहीं करते हैं भारतीय खिलाड़ी
युवा खिलाड़ियों में जोश की कमीं
इस समय जो भी युवा खिलाड़ी भारतीय टीम में शामिल होता है वो शुरुआत तो शानदार तरीके से करते हैं। लेकिन समय के साथ इनके फ़ॉर्म में गिरावट देखने को मिलती है और इसी वजह से इन खिलाड़ियों को बाहर का रास्ता दिखाया जाता है। अब अगर ऐसे में सीनियर खिलाड़ी भी अपने संन्यास का ऐलान कर देंगे तो फिर भारतीय टीम का अस्तित्व खतरे में आ जाएगा। एक्सपर्ट्स का मानना है कि, भारतीय टीम के सीनियर खिलाड़ी इसी वजह से संन्यास का ऐलान नहीं करते हैं।
ब्रांड वैल्यू में पड़ेगा असर
जब भी कोई भारतीय टीम का खिलाड़ी टीम से बाहर होता है तो फिर उसकी ब्रांड वैल्यू में कमीं देखने को मिलती है। उसे वो अटेंशन कभी नहीं मिल पाती है जिसका वो हकदार है। अब ऐसे में अगर कोई खिलाड़ी संन्यास का ऐलान कर देगा तो उसकी लोकप्रियता में कमीं देखने को मिलेगी और उसे वो तरजीह नहीं दी जाएगी जो टीम में रहते हुए वो पा रहा है।
असुरक्षित महसूस रहते हैं भारतीय खिलाड़ी
भारतीय टीम के खिलाड़ियों में असुरक्षा एक बड़ा मुद्दा बन गया है। जब भी कोई भारतीय टीम का खिलाड़ी बाहर जाता है तो फिर उनका रिप्लेसमेंट बेहतरीन खेल दिखा जाता है। इसी वजह से उस खिलाड़ी को दोबारा भारतीय टीम में जगह बनाने के लिए कड़ी मशक्कत करनी पड़ती है। कहा जा रहा है कि, इन्हीं कारणों की वजह से भारतीय टीम के खिलाड़ी खुद को ड्रॉप करने से बचते हैं।
इसे भी पढ़ें – फैंस के लिए बड़ी खुशखबरी, इस तारीख फिर से खेली जाएगी बॉर्डर-गावस्कर सीरीज, फिर 2-2 हाथ करेंगे बुमराह-कमिंस