टीम इंडिया के युवा विकेटकीपर बल्लेबाज संजू सैमसन (Sanju Samson) के साथ भारतीय मैनेजमेंट के द्वारा हमेशा ही सौतेला व्यवहार किया जाता है और इन्हें अक्सर ही मैनेजमेंट के द्वारा महत्वपूर्ण शृंखलाओं और टूर्नामेंट से पहले टीम इंडिया से बाहर कर दिया जाता है। संजू सैमसन टीम इंडिया से बाहर होने के बाद डोमेस्टिक क्रिकेट खेलते हुए दिखाई देते हैं और इसी वजह से हर एक प्रारूप में इनका पदर्शन बेहद ही शानदार रहता है। इन दिनों संजू सैमसन (Sanju Samson) के द्वारा रणजी ट्रॉफी में खेली गई एक ऐसी पारी का जिक्र किया जा रहा है जिसमें इन्होंने विरोधी गेंदबाजों की बराबर कुटाई की थी।
रणजी ट्रॉफी में Sanju Samson ने खेली तूफ़ानी पारी
विकेटकीपर बल्लेबाज संजू सैमसन (Sanju Samson) का घरेलू क्रिकेट में प्रदर्शन हमेशा से ही बेहतरीन रहा है और इन्होंने करियर के शुरुआती दिनों से ही क्रिकेट के हर एक प्रारूप में रन बनाए हैं। संजू सैमसन ने अपने करियर के शुरुआत में ही रणजी क्रिकेट में खेलते हुए असम के खिलाफ शानदार दोहरा शतकीय पारी खेली थी। इस मैच में इन्होंने 338 गेदो का सामना करते हुए 23 चौकों और 5 शानदार छक्कों की मदद से 211 रनों की पारी खेली थी। एक्सपर्ट्स की मानें तो मैनेजमेंट ने इसी पारी के बाद ही इन्हें भारतीय टीम में शामिल करने के बारे में विचार किया था।
कुछ इस प्रकार रहा मैच का हाल
अगर बात करें रणजी ट्रॉफी 2013 में असम और केरल के बीच खेले गए मैच की तो इस मैच में टॉस जीतकर केरल की टीम ने पहले गेंदबाजी का फैसला किया। पहले बल्लेबाजी करने उतरी असम की टीम ने इस मैच की पहली पारी में 323 रन बनाए, दूसरी पारी में बल्लेबाजी करने उतरी केरल की टीम 362 रन बनाकर ऑलआउट हो गई। 39 रनों की बढ़त को ध्यान में रखते हुए असम की टीम ने मैच की तीसरी पारी में 9 विकेट के नुकसान पर 217 रन बनाए। इसी के साथ यह मैच ड्रॉ पर समाप्त हुआ।
कुछ इस प्रकार है करियर
अगर बात करें टीम इंडिया के विकेटकीपर बल्लेबाज संजू सैमसन (Sanju Samson) के क्रिकेट करियर की तो इनका करियर बेहद ही शानदार रहा है। इन्होंने अपने प्रथम श्रेणी करियर में खेले गए कुल 62 मैचों कि 102 पारियों में 38.54 की औसत से 3613 रन बनाए हैं। इस दौरान इनके बल्ले से 10 शतकीय और 16 अर्धशतकीय पारियां खेली हैं।
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