दलीप ट्रॉफी (Duleep Trophy) का आगाज 28 अगस्त को हुआ था और 4 सितंबर से 7 सितंबर के बीच टूर्नामेंट का सेमीफाइनल मुकाबला खेला जा रहा है। वहीं इसका फाइनल मुकाबला 11 सितंबर से 15 सितंबर के बीच खेला जाएगा। इस टूर्नामेंट को बीसीसीआई के द्वारा हर साल आयोजित किया जाता है और इसमें कुल 6 टीमें हिस्सा लेती हैं।
इन 6 टीमों का गठन बीसीसीआई के द्वारा जोन के आधार पर किया जाता है। दलीप ट्रॉफी (Duleep Trophy) देश का प्रतिष्ठित फर्स्ट क्लास टूर्नामेंट है और साल 1962 से इस टूर्नामेंट को सफलता पूर्वक आयोजित किया जा रहा है।
लेकिन बहुत कम खेल प्रेमियों को यह पता होगा कि, दलीप ट्रॉफी (Duleep Trophy) को बीसीसीआई के द्वारा क्यों शुरू किया गया। यह किसके नाम के ऊपर शुरू की गई थी और जिस दिग्गज के नाम पर इस ट्रॉफी का नामकरण हुआ वो कौन थे और भारतीय क्रिकेट को बढ़ाने के पीछे उनका कितना योगदान था। आज के इस लेख में हम आपको बताएंगे कि, दलीप ट्रॉफी (Duleep Trophy) का नामकरण किसके नाम पर किया गया था। इस टूर्नामेंट का इतिहास क्या है।
किसके नाम पर शुरू की गई Duleep Trophy

दलीप ट्रॉफी (Duleep Trophy) को बीसीसीआई के द्वारा पहली बार साल 1961-62 में आयोजित किया गया था। बीसीसीआई ने पूर्व इंग्लिश खिलाड़ी दलीप सिंह के नाम पर इस ट्रॉफी की शुरुआत की थी। दलीप सिंह का जन्म तो 13 जून 1905 को कठियावाड़ के राजघराने में हुआ था लेकिन बाद में शिक्षा लेने के लिए ये इंग्लैंड चले गए और वहीं से क्रिकेट खेलना शुरू कर दिया।
इन्होंने इंटरनेशल क्रिकेट में डेब्यू भी इंग्लैंड के लिए किया था और ये कभी भी भारत के लिए नहीं खेले। लेकिन क्रिकेट में इनका योगदान बहुत अधिक था और इनके योगदान को सम्मान देने के लिए ही बीसीसीआई के द्वारा साल 1961-62 में इनके नाम पर टूर्नामेंट किया गया था। उस साल से लगातार बीसीसीआई के द्वारा दलीप ट्रॉफी (Duleep Trophy) को आयोजित किया जा रहा है।
ससेक्स के लिए खेला काउंटी क्रिकेट
कठियावाड़ के महाराजा दलीप सिंह जब इंग्लैंड पढ़ने के लिए गए तो इन्होंने वहीं से खेलने का फैसला कर लिया और ये मशहूर क्रिकेट क्लब ससेक्स की टीम के साथ जुड़ गए और इस टीम के लिए इन्होंने कई सालों तक क्रिकेट खेला है। ससेक्स के लिए खेलते हुए इन्होंने कई बेहतरीन पारियां खेली हैं और इनके द्वारा बनाए गए रिकॉर्ड आज भी कायम हैं और कोई भी खिलाड़ी इन मानकों के करीब नहीं पहुँच पाया है।
1930 में ससेक्स के लिए खेलते हुए नॉर्थम्प्टनशायर के खिलाफ इन्होंने 333 रनों की पारी खेली थी। ये पारी काउंटी क्रिकेट में ससेक्स के लिए खेली गई सबसे बड़ी पारी है और आज तक कोई भी बल्लेबाज इन मानकों के करीब नहीं पहुँच पाया है।
इस प्रकार का रहा है क्रिकेट करियर
अगर बात करें कठियावाड़ के महाराजा दलीप सिंह के क्रिकेट करियर की तो इनका करियर बेहद ही शानदार रहा है। इन्होंने अपने इंटरनेशल क्रिकेट करियर में खेलते हुए 12 मैचों की 19 पारियों में 58.52 की औसत से 995 रन बनाए हैं। इस दौरान इन्होंने 3 शतकीय और 5 अर्धशतकीय पारियां खेली हैं।
वहीं इनके ओवरऑल प्रथम श्रेणी क्रिकेट करियर की बात करें तो इन्होंने 205 मैचों की 333 पारियों में 49.95 की औसत से 15485 रन बनाए हैं। इस दौरान इन्होंने 50 बार शतकीय और 64 अर्धशतकीय पारियां खेली हैं। वहीं बॉलिंग करते हुए इन्होंने 28 विकेट भी लिए हैं।
कुल 6 टीमें लेती हैं Duleep Trophy में हिस्सा!
दलीप ट्रॉफी (Duleep Trophy) में कुल 6 टीमें हिस्सा लेते हुए दिखाई दे रही हैं। बीसीसीआई के द्वारा घरेलू क्रिकेट संघों की टीमों को 6 टीम में डिवाइड कर दिया गया है। इस टूर्नामेंट में नॉर्थ जोन, साऊथ जोन, ईस्ट जोन, वेस्ट जोन, सेंट्रल जोन और नॉर्थ-ईस्ट जोन की टीमें हिस्सा लेती हैं। बीसीसीआई यह निर्धारित करती है कि, किस क्रिकेट संघ को किस जोन में शामिल किया जाएगा और सीनियर सलेक्शन कमेटी के चयनकर्ता के द्वारा स्क्वाड का चयन किया जाता है।
इस टीम ने जीता सबसे अधिक बार Duleep Trophy का खिताब
दलीप ट्रॉफी (Duleep Trophy) को बीसीसीआई के द्वारा पहली बार साल 1961-62 में आयोजित किया गया था। तब से लेकर अब तक में सबसे अधिक बार ट्रॉफी जीतने का कारनामा वेस्ट जोन की टीम ने किया है। वेस्ट जोन की टीम ने कुल 19 बार खिताब को जीता है और ये टूर्नामेंट के इतिहास की सबसे सफल टीम है। वहीं दूसरे नंबर पर नॉर्थ जोन की टीम है और नॉर्थ जोन की टीम ने दलीप ट्रॉफी में खेलते हुए कुल 18 बार खिताब पर कब्जा जमाया है।
इस बल्लेबाज ने बनाए हैं Duleep Trophy में सबसे अधिक रन
अगर बात करें दलीप ट्रॉफी (Duleep Trophy) में सबसे अधिक रन बनाने वाले बल्लेबाजों की तो कुछ सालों पहले तक इसमें खिलाड़ियों के बीच शीर्ष स्थान पर जाने की प्रतिस्पर्धा रहती थी। लेकिन अब इस मुकाम के शीर्ष स्थान पर दिग्गज भारतीय खिलाड़ी वसीम जाफ़र ने कब्जा जमा लिया है। इन्होंने इस टूर्नामेंट में खेलते हुए 30 मैचों की 54 पारियों में 55.32 की औसत से 2545 रन बनाए हैं। इस दौरान इन्होंने 8 मर्तबा शतकीय और 13 मर्तबा अर्धशतकीय पारियां खेली हैं।
इनके बाद नंबर 2 पर 51.47 की औसत से 2265 रन बनाने वाले विक्रम राठौर हैं। जबकि तीसरे नंबर पर 52.73 की औसत से 2004 रन बनाने वाले अंशुमन गायकवाड़ हैं और चौथे नंबर पर 57.67 की औसत से 1961 रन बनाने वाले अजय शर्मा हैं और पांचवें स्थान पर 24 मैचों में 53.7 की औसत से 1918 रन बनाने वाले आकाश चोपड़ा हैं।
इस गेंदबाज ने झटके हैं Duleep Trophy सबसे अधिक विकेट
अगर दलीप ट्रॉफी (Duleep Trophy) में सबसे अधिक विकेट लेने वाले खिलाड़ियों के बारे में बात की जाए तो इस टूर्नामेंट के सबसे सफल गेंदबाज नरेंद्र हिरवानी हैं। इन्होंने 29 मैचों की 45 पारियों में 34.12 की औसत से 126 विकेट अपने नाम किए हैं। दूसरे नंबर पर सबसे विकेट लेने वाले खिलाड़ी साईराज बहुतुले हैं और इन्होंने 30 मैचों की 48 पारियों में 26.76 की औसत से 112 विकेट अपने नाम किए हैं।
दलीप ट्रॉफी (Duleep Trophy) में तीसरे नंबर पर सबसे अधिक विकेट लेने वाले खिलाड़ी भगवत चंद्रशेखर हैं और इन्होंने 24.30 की औसत से 99 विकेट अपने नाम किए हैं। चौथे नंबर पर सबसे अधिक विकेट लेने वाले खिलाड़ी श्रीनिवासन वेंकटराघवन हैं और इन्होंने 26 मैचों में 23.66 की औसत से 95 विकेट अपने नाम किए हैं। वहीं पांचवें नंबर पर सबसे अधिक विकेट लेने वाले खिलाड़ी इरापल्ली प्रसन्ना हैं और इन्होंने 24 मैचों में 83 विकेट अपने नाम किए हैं।