रॉयल चैलेंजर्स के प्ले-ऑफ़ में पहुँचने के अरमानों पर पानी फेरते हुए सनराइज़र्स हैदराबाद ने यहाँ खेले गए मुकाबले में 5 रन से जीत दर्ज की। राजीव गाँधी इंटरनेशनल स्टेडियम पर खेला गया यह मुकाबला बंगलोर के लिए करो या मरो स्थिति वाला मैच था।
कप्तान केन विलियमसन द्वारा खेली गयी 56 रन की पारी की बदौलत, हैदराबाद की टीम 10 मैचों में 8 जीत के साथ अब अंक तालिका में सबसे ऊपर पहुँच गयी है। इस पारी के लिए विलियमसन को ‘मैन ऑफ़ द मैच’ पुरस्कार से भी नवाज़ा गया।
गेंदबाज कर रहे हैं अच्छा प्रदर्शन
मैच के पश्चात् कप्तान विलियमसन ने कहा कि गेंदबाजों का सधा हुआ प्रदर्शन ही इस जीत का असली हकदार है। हालाँकि पॉवर-प्ले ओवेर्स को लेकर कप्तान ने चिंता व्यक्त की है। यह सोचना सही भी है क्यूंकि हैदराबाद के गेंदबाज इस मैच के पहले 5 ओवेरों में 9 से ज्यादा के रन-रेट से रन लुटा चुके थे।
अपने शब्दों में आगे जोड़ते हुए कप्तान ने कहा कि इस तरह की पिचों पर रन इस तरह का प्रदर्शन करना कठिन है। क्यूंकि गेंदबाजों के लिए पिच पर ज्यादा मूवमेंट नहीं है, न तो तेज़ गेंदबाजों के लिए और न ही स्पिनर्स के लिए।
बल्लेबाजी में करना होगा सुधार
पहले बल्लेबाजी करने को लेकर केन ने बल्लेबाजों को ज्यादा न सुनाते हुए कहा कि इसमें बल्लेबाजों को दोष नहीं दिया जाना चाहिए। क्यूंकि लीग की शुरुआत में पिचों पर अच्छे रन बन रहे थे, लेकिन अब पिच धीमी होती जा रही हैं। आखिर में जल्दी विकेट गंवाने के कारण टीम का स्कोर 10-15 रन कम रह गया। हम आसानी से 160 तक पहुँच सकते थे।
ज़ाहिर तौर पर गेंदबाजों को इस जीत का श्रेय जाता है। लेकिन बल्लेबाजों को सुधार कर बड़े स्कोर खड़े करने होंगे।
क्षेत्र-रक्षण को लेकर उन्होंने कहा कि पिछले कुछ मैचों से गेंदबाज़ी और क्षेत्र-रक्षण ही हमारी टीम का मजबूत पक्ष रहे हैं। लेकिन विराट कोहली का कैच ड्राप होना हमारे लिए घातक साबित हो सकता था। लेकिन मजबूत गेंबाज़ी के चलते ही हम उन्हें 141 पर रोक पाए।
बता दें कि हैदराबाद की टीम अब लगभग प्ले-ऑफ़ में अपनी जगह पक्की कर चुकी है। साथ ही अपना दूसरा ख़िताब जीतने को बेताब है।